अर्थ गंगा Arth ganga नेशनल मिशन फॉरक्लीन गंगा के अंतर्गत सतत विकास मॉडल है । जिसके अंतर्गत गंगा नदी के आसपास के क्षेत्रों में आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा दिया जाना है।
अर्थ गंगा का विचार सबसे पहले 2019 में राष्ट्रीय गंगा काउंसिल की कानपुर में आयोजित की गई मीटिंग में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिया था । जो कि नमामि गंगे मॉडल से अर्थ गंगा मॉडल की ओर बढ़ने का एक संकेत था । अर्थ गंगा का कार्य गंगा नदी क्षेत्र में जहां नमामि गंगे प्रोजेक्ट चलाया जा रहा है वहाँ पर गंगा नदी से संबन्धित आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा देना है । अर्थ गंगा मॉडल के अंतर्गत सरकार 6 स्तंभों पर कार्य कर रही है।
अर्थ गंगा मॉडल के 6 स्तंभ | Six dimension of Arth ganga Project –
जीरो बजट प्राकृतिक खेती
अर्थ गंगा Arth ganga प्रोजेक्ट का पहला आयाम है जीरो बजट प्राकृतिक खेती जो कि रासायनिक खादों केमिकल से मुक्त खेती का एक प्रकार है इसमें गंगा के किनारे 10 किलोमीटर क्षेत्रफल उर्वरक और रसायन तरीके जी की जाएगी स्थिति में गाय के गोबर का प्रयोग उर्वरक के रूप में किया जाएगा जो कि गोवर्धन योजना के अंतर्गत प्राप्त होगा।
सीवर और अपशिष्ट जल का पुनर्प्रयोग कर धन कमाना
इसके अंतर्गत सीवेज और वेस्टवाटर का शोधन करके इसका अपना खेती तथा उद्योगों को बेच कर अपना प्रयोग किया जाता है तथाबिक्री से आर्थिक लाभ भी कमाया जाएगा इससे स्थानिक प्रशासनिक निकायों को आर्थिक लाभ प्राप्त होगा जिससे स्थानीय विकास को बढ़ावा मिलेगा।
आजीविका के अवसरों का निर्माण
अर्थ गंगा Arth ganga के अंतर्गत गंगा नदी क्षेत्र में हाट बाजारों का निर्माण किया जाएगा जहां स्थानीय लोग अपने स्थानीय उत्पादों औषधीय पौधों आदि को भेज सकते हैं इससे स्थानीय स्तर पर लोगों का आर्थिक सशक्तिकरण होगा और रोजगारों का निर्माण होगा।
जन भागीदारी को बढ़ावा देना
या मॉडल गंगा नदी से जुड़े विभिन्न इतने धारकों के मध्य सहयोग को बढ़ावा देकर जन भागीदारी को बढ़ावा देगा तथा लोगों में गंगा की स्वच्छता और अर्थ गंगा के प्रति जागरूकता बढ़ाकर योजना की सफलता भी सुनिश्चित करेगा ।
सांस्कृतिक विरासत और पर्यटन को बढ़ावा
अर्थ गंगा के माध्यम से गंगा नदी के आसपास विभिन्न एक्टिविटीज जैसे नौकायन एडवेंचरएडवेंचरस्पोर्ट्स योग आदि के माध्यम से गंगा क्षेत्र की सांस्कृतिक विरासत और पर्यटन को बढ़ावा दिया जाएगा।
स्थानीय प्रशासन का सशक्तिकरण
अर्थ गंगा संपूर्ण रूप सेसंस्थागत व्यवस्था के निर्माण के रूप में वाटरगवर्नेंस के लिए स्थानीय प्रशासन का सशक्तिकरण करेगा जिससे इस योजना की सफलता अधिक सुनिश्चित हो जाएगी।
प्रोजेक्ट | अर्थ गंगा |
लक्ष्य | नमामि गंगे के अंतर्गत आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा देना |
सरकार | केंद्र सरकार |
मूल योजना | नमामि गंगा प्रोजेक्ट |
अर्थ गंगा प्रोजेक्ट के लाभ ( Benifits of Arth gnaga Project )
- आर्थिक गतिविधियां शुरू होने से नमामि गंगे प्रोजेक्ट के प्रति लोगों का जुड़ाव अधिक मजबूत होगा ।
- लोगों में नदी स्वच्छता के प्रति सरकारी प्रयासों का सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा
- गंगा नदी क्षेत्र की ग्रामीण जनसंखाया की आर्थिक स्थिति में सुधार आएगा ।
- नए रोजगार पैदा होंगे ।
- संसाधनों का समुचित उपयोग सुनिश्चित होगा ।
- गंगा नदी क्षेत्र की संस्कृति और यहाँ पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा ।
अर्थ गंगा प्रोजेक्ट की चुनौतियाँ ( Challenges of Arth Ganga)
- अर्थ गंगा प्रोजेक्ट से नमामी गंगे प्रोजेक्ट का खर्च बढ़ेगा , जबकि पहले से ही गंगा स्वच्छता के लिए बड़ा बजट खर्च किया जा चुका है ।
- अर्थ गंगा प्रोजेक्ट से बहुत से कार्यों का दोहराव होगा ( duplication of efforts) ।
- सीवेज वॉटर की बिक्री , पर्यटन और संस्कृति को बढ़ावा देने का कार्य पहले से भी किया जा रहा है ।
- लोगों में जागरूकता और नियम और क़ानूनों का समुचित पालन न होने की स्थिति में अर्थ गंगा प्रोजेक्ट की सफलता भी बहुत कठिन होगी ।
नमामि गंगे प्रोजेक्ट क्या है? Namami Gange Project
नमामि गंगे भारत सरकार द्वारा 2014 में शुरू किया गया एकीकृत संरक्षण कार्यक्रम है । इसे भारत सरकार की फ्लैगशिप कार्यक्रम के रूप में अप्रूव्ड किया गया है ।
नमामि गंगे प्रोजेक्ट को प्रदूषण के प्रभावी उपशमन और राष्ट्रीय गंगा नदी के संरक्षण और कायाकल्प के दोहरे उद्देश्य से शुरू किया गया था।
यह जल संसाधन, नदी विकास और गंगा संरक्षण विभाग, जल शक्ति मंत्रालय द्वारा संचालित है।
यह कार्यक्रम राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन (NMCG), और इसके राज्य समकक्ष संगठनों यानी राज्य कार्यक्रम प्रबंधन समूहों (एसपीएमजी) द्वारा कार्यान्वित किया जा रहा है।
राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन NMCG राष्ट्रीय गंगा परिषद का कार्यान्वयन विंग है (2016 में स्थापित, इसने राष्ट्रीय गंगा नदी बेसिन प्राधिकरण –NGRBA की जगह ली) ।
इसमें एक 20,000-करोड़ का केंद्र-वित्त पोषित, गैर-व्यपगत कोष सामिल है। जिसमें लगभग 288 परियोजनाएं शामिल हैं।
नमामि गंगे कार्यक्रम के मुख्य स्तंभ हैं-
- सीवेज ट्रीटमेंट इंफ्रास्ट्रक्चर
- नदी-सामने विकास
- नदी-सतह की सफाई
- जैव विविधता
- वनीकरण
- जन जागरण
- औद्योगिक प्रवाह निगरानी
- गंगा ग्राम
FAQs-
1.नमामि गंगे योजना क्या है?
गंगा नदी को स्वच्छ करने हेतु 2014 में प्रारम्भ की गई योजना ।
2. नमामि गंगे का शुभारंभ किसने किया?
नमामि गंगे का शुभारंभ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2014 में किया ।
3. नमामि गंगे का उद्देश्य क्या है?
नमामि गंगे का उद्देश्य गंगा नदी को प्रदूषण मुक्त करना तथा सहायक नदियों को पुनर्जीवित करना है ।
4. उत्तराखंड में नमामि गंगा की शुरुआत कहाँ से हुई?
हरिद्वार से ।
5. नमामि गंगे का हेड ऑफिस का पता बताओ
1st Floor, Major Dhyan Chand National Stadium
India Gate, New Delhi – 110002
6. नमामि गंगे योजना की देखरेख कौन कर रहा है?
इस योजना की निगरानी जल शक्ति मंत्रालय तथा सीधे प्रधानमंत्री कार्यालय से की जा रही है ।
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